Ram Mandir: अयोध्या में प्रतिष्ठा द्वादशी पर धूमधाम से मनाई जाएगी राम लला की प्राण प्रतिष्ठा की पहली सालगिरह

Ram Mandir: अयोध्या के श्रीराम जन्मभूमि मंदिर में श्रीराम लला विग्रह की प्राण प्रतिष्ठा की पहली वर्षगांठ 11 जनवरी 2025 को “प्रतिष्ठा द्वादशी” के रूप में मनाई जाएगी। यह अवसर न केवल धार्मिक महत्व का है, बल्कि भारतीय संस्कृति और धर्म के प्रति आस्था को दर्शाने वाला एक ऐतिहासिक पल भी है। इस दिन, मंदिर परिसर में विशेष धार्मिक और सांस्कृतिक कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे, जो श्रद्धालुओं के लिए एक अभूतपूर्व अनुभव होंगे। यह आयोजन श्रीराम की भव्यता और उनके योगदान को समर्पित होगा, जो एक नई अध्याय की शुरुआत का प्रतीक बन चुका है।

प्रतिष्ठा द्वादशी एक ऐसा दिन है जब श्रीराम लला के विग्रह की प्राण प्रतिष्ठा के पश्चात् पहला वार्षिकोत्सव मनाया जाता है। यह दिन इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि इस दिन का आयोजन धार्मिक रीति-रिवाजों के साथ-साथ भारतीय संस्कृति की परंपराओं को प्रकट करने का अवसर प्रदान करता है। श्रीराम जन्मभूमि मंदिर में आयोजित होने वाले इस कार्यक्रम में प्रमुख धार्मिक अनुष्ठान और सांस्कृतिक प्रस्तुतियाँ होंगी, जो हर भक्त के दिल में श्रीराम के प्रति श्रद्धा और भक्ति को और भी गहरा करेंगी।

  1. आग्निहोत्र यज्ञ
    इस दिन की शुरुआत सुबह 8 से 11 बजे तक और फिर दोपहर 2 से 5 बजे तक आग्निहोत्र यज्ञ से होगी। यज्ञ का आयोजन शुक्ल यजुर्वेद से मंत्रों का उच्चारण करते हुए किया जाएगा। इस यज्ञ का मुख्य उद्देश्य धार्मिक शुद्धता और वातावरण की पवित्रता को बढ़ाना है। यह यज्ञ श्रद्धालुओं के लिए एक दिव्य अनुभव प्रदान करेगा, जिससे उनके मन को शांति और संतोष मिलेगा।
  2. राम मंत्र का 6 लाख बार जाप
    पूरे दिन भर में राम मंत्र का 6 लाख बार जाप होगा, जो विशेष रूप से भक्तों के लिए एक अद्भुत आध्यात्मिक अनुभव होगा। यह जाप पूरे मंदिर परिसर में विभिन्न समयों पर आयोजित किया जाएगा। राम मंत्र का उच्चारण करने से व्यक्ति के मन और आत्मा को शांति मिलती है और उसकी आस्था और भक्ति का स्तर ऊँचा होता है।
  3. राम रक्षा स्तोत्र, हनुमान चालीसा का पाठ
    श्रद्धालु इस अवसर पर राम रक्षा स्तोत्र और हनुमान चालीसा का पाठ कर सकते हैं। यह स्तोत्र और भजन भगवान श्रीराम और उनके प्रिय भक्त हनुमान के प्रति भक्ति और श्रद्धा को व्यक्त करते हैं। इनका पाठ करने से न केवल भक्तों के जीवन में सुख-समृद्धि आती है, बल्कि उन्हें भगवान का आशीर्वाद भी प्राप्त होता है।
  4. मंदिर के भूतल पर कार्यक्रम
    मंदिर के भूतल पर राग सेवा का आयोजन किया जाएगा, जो 3 से 5 बजे तक चलेगा। संगीत के शौकिनों के लिए यह एक विशेष अवसर होगा, जहाँ वे मंदिर परिसर में भक्ति संगीत का आनंद ले सकेंगे। राग सेवा का उद्देश्य भक्तों को भगवान श्रीराम के प्रति अपनी श्रद्धा व्यक्त करने के लिए एक रचनात्मक और आध्यात्मिक माध्यम प्रदान करना है।
  5. बधाई गान
    शाम 6 से 9 बजे तक मंदिर परिसर में बधाई गीतों का आयोजन किया जाएगा। इस कार्यक्रम में श्रद्धालु भी भाग ले सकेंगे और साथ में गीत गा सकते हैं। यह गीत भगवान श्रीराम के प्रति भक्ति और आभार का प्रतीक होंगे। बधाई गान के दौरान मंदिर परिसर में एक धार्मिक उल्लास का वातावरण होगा, जो सभी उपस्थित भक्तों के दिलों में श्रीराम की महिमा का गुणगान करेगा।

अयोध्या में आयोजित होने वाला प्रतिष्ठा द्वादशी उत्सव न केवल श्रीराम के प्रति श्रद्धा और भक्ति को प्रदर्शित करेगा, बल्कि यह एक ऐतिहासिक पल भी साबित होगा। इस अवसर पर आयोजित होने वाले सभी कार्यक्रम श्रद्धालुओं को आध्यात्मिक रूप से समृद्ध करेंगे और उन्हें श्रीराम के अद्वितीय योगदान को समझने का अवसर मिलेगा। यह आयोजन हर हिन्दू भक्त के लिए एक ऐतिहासिक अनुभव होगा, जो धार्मिक और सांस्कृतिक परंपराओं की महत्ता को पुनः स्थापित करेगा।

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