CG NEWS: धान की बिक्री के बावजूद किसानों को उनके भुगतान में हो रही देरी के कारण किसान संघ ने नाराजगी जाहिर की है। कई किसानों का कहना है कि उन्होंने मंडियों में अपना धान बेच दिया, लेकिन अभी तक उन्हें उचित भुगतान नहीं मिला है। इस कारण वे आर्थिक संकट का सामना कर रहे हैं।
मुख्य समस्याएं:
भुगतान में देरी: किसानों का आरोप है कि मंडियों में धान बेचने के हफ्तों बाद भी भुगतान नहीं हुआ है।
बिचौलियों की दखलअंदाजी: कई जगहों पर बिचौलिए किसानों का शोषण कर रहे हैं, जिससे किसानों को उनके धान का सही मूल्य नहीं मिल रहा।
सरकारी उदासीनता: किसानों और उनके संगठनों का कहना है कि सरकार इस मामले में गंभीर कदम नहीं उठा रही, जिससे समस्या और गहरी हो रही है।
कर्ज का बोझ: बिना समय पर भुगतान के किसान मजबूरन कर्ज लेने को विवश हो रहे हैं, जिससे उनकी परेशानियां और बढ़ रही हैं।
किसान संघ का आक्रोश:
किसान संगठनों ने चेतावनी दी है कि यदि जल्द ही भुगतान नहीं किया गया तो वे विरोध प्रदर्शन करेंगे। संघ के नेताओं ने कहा कि सरकार को तुरंत हस्तक्षेप करके किसानों को उनका हक दिलाना चाहिए।
सरकार की प्रतिक्रिया:
अब तक सरकार ने मामले की जांच कराने का आश्वासन दिया है, लेकिन किसानों को ठोस कदमों की उम्मीद है।
निष्कर्ष:
धान की बिक्री के बाद भी किसानों को खाली हाथ रहना पड़ा है, जिससे उनका संकट बढ़ रहा है। सरकार और संबंधित एजेंसियों को इस मुद्दे को प्राथमिकता देनी होगी, ताकि किसानों को उनका मेहनताना समय पर मिल सके।