SARKARI YOJANA: स्वच्छ भारत मिशन 2.0 (Swachh Bharat Mission 2.0) भारत सरकार द्वारा शुरू किया गया एक महत्त्वाकांक्षी कार्यक्रम है, जिसका उद्देश्य देश को और अधिक स्वच्छ, सुरक्षित और टिकाऊ बनाना है। यह मिशन स्वच्छ भारत मिशन (ग्रामीण) और स्वच्छ भारत मिशन (शहरी) का अगला चरण है। इसे 1 अक्टूबर 2021 को शुरू किया गया था।
स्वच्छ भारत मिशन 2.0 का उद्देश्य :
खुले में शौच से मुक्त (ODF) प्लस भारत बनाना
– ODF (Open Defecation Free) की स्थिति को बनाए रखना और इसमें सुधार करना।
– ODF प्लस का मतलब है कि सिर्फ शौचालय निर्माण ही नहीं, बल्कि उसका सही उपयोग, रखरखाव और ठोस और तरल अपशिष्ट प्रबंधन (SLWM) भी सुनिश्चित किया जाए।
कचरा प्रबंधन को प्रभावशाली बनाना
– ठोस (solid) और तरल (liquid) अपशिष्ट प्रबंधन की सुविधा को ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में विस्तार देना।
– स्रोत पर कचरे का पृथक्करण (segregation), कंपोस्टिंग, रीसाइक्लिंग को बढ़ावा देना।
सामुदायिक भागीदारी
– नागरिकों, पंचायतों, स्कूलों, महिलाओं और युवाओं की भागीदारी को बढ़ाना ताकि सफाई को एक जनआंदोलन बनाया जा सके।
स्वस्थ और टिकाऊ वातावरण का निर्माण
– स्वच्छता के माध्यम से जनस्वास्थ्य को बेहतर बनाना।
– पर्यावरणीय संकटों को कम करना।
प्रमुख घटक :
शौचालयों का निर्माण और उन्नयन
– व्यक्तिगत घरेलू शौचालय, सामुदायिक और सार्वजनिक शौचालयों का निर्माण एवं नवीनीकरण।
ठोस और तरल कचरा प्रबंधन (SLWM)
– कचरे का संग्रहण, पृथक्करण, परिवहन, निस्तारण और पुनः उपयोग।
साफ-सफाई के प्रति जागरूकता
– जनजागरूकता अभियान, स्कूलों में शिक्षा, पंचायतों और स्व-सहायता समूहों को जोड़ना।
तकनीक और नवाचार का उपयोग
– डिजिटल ट्रैकिंग, मोबाइल ऐप्स, डेटा मॉनिटरिंग, नवाचारों का प्रयोग।
वित्तीय प्रावधान :
सरकार ने स्वच्छ भारत मिशन (शहरी) 2.0 के लिए ₹1.41 लाख करोड़ (2021 से 2026 तक) का बजट तय किया है। वहीं, ग्रामीण क्षेत्रों के लिए भी अलग बजटीय प्रावधान किए गए हैं।
प्रभाव:
- बेहतर स्वास्थ्य और स्वच्छता
- जल स्रोतों की सुरक्षा
- महिलाओं की गरिमा और सुरक्षा में वृद्धि
- बाल मृत्यु दर में कमी
- रोजगार के अवसरों में वृद्धि (कचरा प्रबंधन उद्योग)
निष्कर्ष :
स्वच्छ भारत मिशन 2.0 एक दीर्घकालिक और समग्र दृष्टिकोण से चलाया जा रहा अभियान है, जो सिर्फ सफाई तक सीमित नहीं है, बल्कि यह एक व्यवस्था परिवर्तन (systemic change) की दिशा में एक ठोस कदम है। यह मिशन “जनभागीदारी” और “जन आंदोलन” के सिद्धांत पर आधारित है, जिसमें हर नागरिक की भूमिका महत्त्वपूर्ण है।